नीग्रो के प्यार मे पड़ गयी

हेलो फ्रेंड्स, मेरा नाम रिशू है और मई देल्ही मे रहती हू. मई अपनी जगह का नाम नही बता सकती. अभी मई पोस्ट ग्रॅजुयेशन के फाइनल एअर मे हू.

मई खूब वाइट वाली गोरी हू और मेरी हिगत 5 फीट 2 इंचस है. मई एक-दूं फिट हू बॉडी से. मेरी फॅमिली मे मम्मी, पापा और एक भाई है. हम सब एक बिल्डिंग के 3र्ड फ्लोर पर एक फ्लॅट मे रहते है.

हमारे यहा आस-पास काई सारे घर है, जो फ्लॅट के हिसाब से ही बने है, और लोग उनमे रेंट पर रहते है. मेरे पापा जॉब करते है और भाई भी जॉब करता है और मम्मी घर पर अकेले होते है.

मई भी अक्सर क्लास के लिए बाहर ही रहा करती हू. एक दिन की बात है. मई बाहर की बाल्कनी मे बैठी हुई थी. मैने शॉर्ट्स और त-शर्ट पहन रखी थी और अंदर ब्रा नही पहनी हुई थी. इससे मेरे बूब्स बहुत बड़े समझ मे आ रहे थे.

मई अपना आराम से बैठ कर, बाहर के पार्क मे देखते हुए कोफ़ी पी रही थी. तभी बराबर के बगल वाले घर के फ्लॅट मे एक नीग्रो आदमी आया और उसने बड़ी सी कपरी पहन रखी थी और उपर कुछ भी नही पहना था.

वो बहुत हेल्ती था. उसकी हाइट करीब 6 फीट 6-7 इंचस लग रही थी. वो बहुत ही काला था और उसकी आगे भी करीब 38 से 40 साल लग रही थी. फिर अचानक से हम दोनो की नज़रे मिली. मैने ऐसा अब्ज़र्व किया, की वो मुझे कंटिन्यूवस्ली देखता ही जेया रहा था.

ये मुझे तोड़ा अजीब लग रहा था. फिर मई उसको देखते हुए अंदर चली गयी. लेकिन मेरे मॅन मे एक अजीब सी चुभन होने लगी थी उसको देख कर. मेरे मॅन मे बार-बार उसकी बॉडी के ख़याल आए जेया रहे थे. वो पूरा जेंटल्मेन टाइप का आदमी था.

अब मेरे मॅन मे उसको बार-बार देखने की इचा सी हो रही थी. मैने सोचा, की पता नही मुझे क्या हो गया था. उस काले से आदमी मे पता नही ऐसा क्या था, जो मई उसकी तरफ अट्रॅक्ट हुई जेया रही थी. फिर मई थोड़ी ही देर मे उसको देखने के लिए दोबारा से बाहर बाल्कनी मे आ गयी.

मैने सोचा, की देखु तो सही, की उसको देख कर क्या होता है और मुझे ऐसी फीलिंग क्यू आ रही थी. मेरा मॅन रुकने के लिए नही मान रहा था. अब वो नीग्रो आदमी त-शर्ट पहन चुका था और कुर्सी पर बैठा हुआ था.

हमारी और उसकी बाल्कनी बस 10 फीट की दूरी पर रही होगी. फिर मई भी जेया कर कुर्सी पर बैठ गयी और वो फिरसे मुझे देखने लगा. उसका देखना बड़ा अजीब सा था. वो कॉन्ठणुओसली मुझे देख रहा था, जैसे उसकी पूरी आँखों मे सिर्फ़ हवस भारी हुई हो.

मेरी भी निगाह बार-बार उस पर चली जेया रही थी. दोपहर के करीब 2 बाज रहे थे और मई और मम्मी फ्लॅट मे अकेले ही थे. मई बाल्कनी मे थी और मेरी मम्मी सो रही थी. फिर एक बार जैसे ही मैने नीग्रो आदमी की तरफ देखा, तो उसने मुझे स्माइल पास कर दी और ही कहा.

उसको ऐसे देखते हुए देख कर और उसकी ही सुन कर, मुझे भी हस्सी आ गयी. नीग्रो ने तुरंत मेरा नाम पूच लिया और वो हिन्दी आचे से बोलता था. मैने उसको अपना नाम बता दिया. फिर उसने बोला-

नीग्रो: नाम की तरह आप भी सेक्सी हो.

मई पहली बार ऐसा सुन कर और उसकी हिम्मत देख कर शॉक्ड हो गयी. ये कहते हुए वो मेरी जाँघो और टाँगो को देखने लगा. मुझे फिरसे बड़ा अजीब लगा, पर उसका ऐसे मुझे देखना मुझे अछा भी लगा.

इससे मई थरथराने सी लगी. ऐसा लग रहा था, मानो मई हिल-डुल नही पा रही थी. उसके मूह से ऐसा सुन कर मुझे तेज़ हस्सी सी आ गयी और मई ऐसे ही खड़ी रही. अब मेरे मॅन मे भी उसको और उकसाने की लालसा बढ़ने लगी.

मई बाल्कनी के उपर अपनी टांगे लगा कर बैठ गयी, जिससे मेरी मोटी जांघे उसको और आचे से दिखने लगी. मैने अब्ज़र्व किया, की उसकी निगाह मेरी टाँगो से हॅट ही नही रही थी. जैसे-तैसे उस दिन मैने उसको अपनी सेक्सी अड़ाओ से एक-दूं तडपा दिया था.

गेन्तेलमान आदमी के सामने मई पता नही क्यू अचानक इतराने लगी थी. फिर जैसे-तैसे दिन बीट-ते रहे. मई अब डेली ऐसे ही हॉट अंदाज़ मे खुद को उसकी निगाहो मे परोसने लगी थी. उसका हाल देखने लायक होता था. मुझे भी उसको ऐसे देखने मे मज़ा आने लगा था.

मई भी अब उसको लाइन देने लग गयी थी. धीरे-धीरे मुझे सब अछा लगने लगा था, पर मैने उससे अभी बाते नही की थी. ऐसे ही करते हुए, एक दिन वो मुझे मार्केट मे मिल गया. वो मेरा पीछा करता रहा. मई जहा-जहा गयी, वाहा-वाहा वो मेरे पीछे-पीछे जाता रहा.

भीड़-भाड़ मे वो मेरे एक-दूं करीब तक आ जाता था. वो बहुत बड़ा था आकार मे और मेरे से करीब 15 साल बड़ा था. उसकी बॉडी बहुत लंबी-चौड़ी थी. मई भी मार्केट मे बार-बार उसकी तरफ पलट के देख रही थी और ऐसा करने से मई खुद को रोक नही पा रही थी.

मुझे उसमे अपनापन सा महसूस होने लगा था. मुझे ऐसा लग रहा था, की वो मेरे लिए ही था. उस काले आदमी से मुझे क्यू इतना अत्रक्टिओं हो गया था, ये मुझे बिल्कुल समझ मे नही आ रहा था. शायद ये मेरी आगे का ही पड़ाव था, या फिर वो ज़बरदस्त गेन्तेलमान टाइप वाला आदमी था.

उसको देखते ही मानो मेरी काम-इच्छा जागने सी लगती थी. एक बार भीड़ होने पर वो मेरे पीछे एक-दूं चिपक सा गया. मई सिर्फ़ उसकी चेस्ट तक ही थी. उसकी बॉडी का मेरी बॉडी से लगना, मेरे लिए तो जैसे करेंट लगने के बराबर था.

उसने मुझे पुर मार्केट मे ओबेसर्वे किया . मई सब्ज़ी-वग़ैरा लेकर जैसे ही ऑटो मे बैठी, तो वो भी आ कर उसी ऑटो मे बैठ गया. वो एक-दूं सतत कर बैठ गया मेरे से और वो ढेर सारे एग और टोमतो लेकर जेया रहा था.

उसकी जांघे मेरी जाँघो से जस्ट डबल मोटी और बड़ी थी. मई बैठे-बैठे उसके टच होने का अनुभव ले रही थी. मुझे ये बहुत अछा लग रहा था . तभी उसने अपनी एक उंगली से मेरी टाँगो के नीचे सहलाना शुरू किया. ये सब ऑटो वाला नही देख पा रहा था.

उसकी उंगलियो ने मुझमे सिहार सी पैदा कर दी. मुझे बहुत अछा लगा उसका मुझे ऐसे टच करना. मेरी आँखें बंद सी हो गयी थी. फिर नीग्रो ने अपना मोबाइल नंबर मेरे हाथ मे थमा दिया, जो उसने पहले ही लिख कर रखा था.

मैने भी नंबर तुरंत अपने लोवर की पॉकेट मे रख लिया. हम दोनो अब अपनी जगह पहुँच चुके थे. वो और मई तुरंत बाहर आए और उसने मेरा भी पैसा पे कर दिया. मैने उसको माना किया, लेकिन उसने ज़बरदस्ती मेरे पैसे भी दे दिए.

फिर वो अपने फ्लॅट की तरफ जाते हुए मुस्कुराया और मुझे कॉल करने को बोल गया. मेरे अंदर दर्र भी था, की बात कितनी बढ़ गयी थी. अब मेरा भी मॅन उछाल रहा था. फिर मैने अपने फ्लॅट मे जेया कर मम्मी को सारा समान दिया और फिर स्कर्ट पहन कर बाल्कनी मे आकर बैठ गयी.

वो नीग्रो भी तुरंत बाल्कनी मे आ गया था और उसने मुझे कॉल करने का इशारा किया. मैने उसको तुरंत कॉल की और उसने कॉल रेसिवे करते ही “ही”बोला. मैने भी उसको “ही” बोला और उस दिन से हमारी बाते शुरू हो गयी. फिर उसने अपने देश के बारे मे बहुत कुछ बताया.

उसने बताया, की वो इंडिया मे रह कर स्टडी कर रहा है. फिर उसने बोला-

नीग्रो: मई तुम्हे बहुत प्यार करता हू. जब से तुम्हे देखा है, तुम्हारे बिना रहा नही जाता है. तुम्हारे लिए हर दिन मई तड़पता हू. मई तुमको पाना चाहता हू.

मुझे भी ये सुन कर अछा लगा था. उसका देखना भी मुझे बहुत अछा लगता था. सो मई कुछ कह ना सकी. मैने बस इतना बोला –

मई: आप मेरे से बहुत बड़े हो.

तो उसने बोला: उसमे मेरी क्या ग़लती, मई आप से अगर बड़ा हू तो ?

मैने सोचा, की इंसान प्यार तो कर ही सकता है. उसने बातो-बातो मे मुझसे मिलने की इच्छा जताई, पर हम बाय्फ्रेंड-गर्लफ्रेंड की तरह ऐसे मिल नही सकते थे. क्यूकी हमारी जोड़ी बिल्कुल अलग थी. मई इंडियन थी और वो आफ्रिकन था. और वो बहुत हेवी था मेरे से. लेकिन मेरा भी अंदर से मॅन था उनसे मिलने का, तो मैने बोल ही दिया-

मई: हम कही सेपरेट जगह ही मिल सकते है.

वो बोला: आप हमारे कमरे मे आ जाओ.

पहले मैने सोचा, की उसका रूम तो बगल मे ही था. फिर मैने सोचा, की जब एक बार अंदर चली ही जौंगी, तो कों देखने वाला होगा. ये सोच कर मैने हा कर दी. अगले दिन मई लोवर और त-शर्ट पहन कर मॉर्निंग वॉक पे निकली.

अभी करीब 4 बाज रहे थे सुबा के, तो अंधेरा ही था. मई बात करते हुए हेडफोन से उसके घर मे पहुच गयी और सीडीया चढ़ते हुए सीधे फ्लॅट मे पहुच गयी. वो दरवाज़े पर मेरा इंतेज़ार कर रहा था. मई जैसे ही वाहा पहुँची, तो उसने दरवाज़ा तुरंत बंद कर लिया.

फिर जब मैने सामने देखा, तो वो विकराल बॉडी मेरे सामने खड़ा था. मई उसकी चेस्ट तक ही आ रही थी. उसने उपर कुछ नही पहन रखा था और नीचे टवल पहन रखा था बस. मई उसकी बॉडी इतने नज़दीक से देख कर बिल्कुल शॉक्ड थी.

ज़बरदस्त गेंटल्मन था वो. उसकी बॉडी से मर्दो वाली तगड़ी स्मेल आ रही थी, जो मुझे और कमज़ोर सा कर रही थी. उसने तुरंत मेरे माथे पर किस किया और तुरंत बोला-

नीग्रो: ई लोवे योउ बेबी.

इतना बोलते ही उसने मुझे सीने से लगा लिया और 2 मिनिट लगाए रखा. मुझे उसका ऐसा करना मानो स्वर्ग मे होने जैसा लग रहा था. उसके तुरंत बाद उसने मुझे अपने गले लगाया और गोद मे उठा कर दीवार के सहारे लगा दिया.

फिर वो अपने बड़े होंठ मेरे होंठो से चिपका कर मुझे किस करने लगा. उसकी जीभ मेरे मूह के बहुत अंदर तक जेया रही थी. मुझे दीवार के सहारे टाँग कर, वो मुझे किस करने मे लगा हुआ था. उसका चूमना मुझे बहुत अछा लग रहा था और उसने मुझे चूमना चाटना जारी रखा.

वो मेरी गर्दन का चारो तरफ चाट रहा था. उसका ऐसे करने से मई एक-दूं गरम हो गयी थी. फिर थोड़ी देर मे उसने मेरी त-शर्ट के अंदर हाथ डाल दिया. मैने ब्रा नही पहनी थी, तो वो मेरे बूब्स को तेज़ी से मसालने लगा. वो मेरे बूब्स इतनी तेज़ी से मसल रहा था, जिससे मई पागल हो रही थी.

इतनी मर्दानगी भरे हाथो से मेरे बूब्स को मसलवाना मुझे बहुत ही ज़्यादा अछा लग रहा था. ऐसे ही 4-5 मिनिट मेरे बूब्स मसालने के बाद, उसने मुझे और उपर किया अपनी मज़बूत हाथो से मेरी लोवर और पनटी को तुरंत तोड़ा नीचे कर दिया.

इससे मेरी छूट उसके होंठो के सामने एक झटके मे आ गयी. वो मेरी छूट देखते ही उसको तेज़ी से चाटने लगा और अपनी जीभ मेरी छूट मे घुसाने की कोशिश करने लगा. मई ये सब होने से शोकेड थी. मैने उसके साथ सेक्स की कल्पना भी नही की थी, पर उसने तो मुझे चूम-चाट कर पागल कर दिया था.

उसकी जीभ मेरी छूट के अंदर जेया-जेया कर चाट रही थी और साथ मे वो मेरे दोनो कुल्हो को खूब मसलता जेया रहा था. वो मेरी छूट का पानी पूरा पीटा जेया रहा था और मई 5 मिनिट मे ही झड़ने लगी थी. वो मेरी छूट का सारा पानी पीटा चला गया.

अब वो मुझे नीचे उतारता है और मुझे घुटनो पर बीतता है. मई बैठते हुए अपनी पनटी और लोवर ठीक कर रही थी, तभी उसने मेरे होंठो पर अपनी उंगलिया फिरना शुरू कर दिया और धीरे-धीरे अपना टवल खोल कर नीचे गिरा दिया. उसका लंड देख कर मेरे मूह से निकल गया-

मई: अर्रे बाप रे! ये क्या है? इतना बड़ा लंड.

मई आपको बता डू, की उसका लंड बहुत बड़ा था. वो करीब 12 इंच लंबा और 4 इंच मोटा था . मई दर्र गयी थी एक-दूं, मानो मैने सोचा नही था, की इतना बड़ा भी हो सकता है. उसने अपने लंड से जैसे ही सुपारे की चाँदी को पीछे किया, तो इतनी तेज़ सेक्सी सी स्मेल आई, की पूछो ही मत

वो स्मेल ऐसी थी, जिसने मुझे मदहोश कर दिया. फिर उसने अपना सुपरा मेरे होंठो के पास ला कर रख दिया. पता नही मुझे वो स्मेल ग़ज़ब की क्यू लग रही थी. मई अपनी नाक को उपर-नीचे करते हुए, सुपारे को सूंघने लगी
मुझे बहुत अछा लग रहा था. तभी उसने अपने लंड का टोपा एक झटके से मेरे मूह मे डाल दिया.

मेरे मूह के अंदर उसका टोपा और लंड का तोड़ा सा ही हिस्सा अंदर जेया पा रहा रहा था. तब भी वो मेरा सिर पकड़ कर हल्के झटके लगा रहा था, ताकि ज़्यादा से ज़्यादा लंड मेरे मूह के अंदर चला जाए. ऐसा करने से मेरी साँसे अटक जेया रही थी. उसका लंड मेरी जाँघो के बराबर लंबाई का लग रहा था.

फिर थोड़ी ही देर बाद उसने अपना लंड मेरे मूह मे डाले हुए ही हॅंड-प्रॅक्टीस करने लगा. वो तेज़ी से अपने लंड को हिलाने लगा. मैने उसके लंड को मूह से निकाल कर बोला-

मई: उजाला होने वाला है, उससे पहले मुझे निकलना है.

नीग्रो बोला: बस बेबी एक मिनिट.

ये बोल कर उसने दोबारा से लंड मेरे मूह मे डाल दिया और हाथ बहुत तेज़ चलना शुरू कर दिया. करीब 5 मिनिट कंटिन्यू हाथ चलाने के बाद, वो मेरे मूह मे ही सारा माल गिराने लगा.

माल गिराते समय उसका लंड मेरे गले के पास तक था. उसका माल सीधे मेरे गले मे जेया रहा था और मई भी माल गताकती जेया रही थी. वो करीब एक मिनिट तक झाड़ा और मुझे ऐसा लग रहा था, की उसने मेरे मूह के अंदर करीब 100 ग्राम से भी ज़्यादा माल निकाला होगा.

मेरा पेट भरा-भरा सा लगने लगा था. उसके लंड से इतना माल निकला था, जितनी हम कॉफी पीते है. उसने अपने लंड को निचोड़-निचोड़ कर सारा माल मेरे मूह मे डाल दिया. मुझे भी पता नही कैसे घिंन नही हुई और पता नही मई किस होश मे सारा माल गताकती चली गयी थी.

माल निकालने के बाद, उसने फिरसे टवल लपेट लिया और बोला-

नीग्रो: बेबी अभी जाओ. नेक्स्ट टाइम अगेन वी’ल्ल दो.

मई तुरंत उठी और उसने मुझे एक हग किया और माथे पर किस किया. फिर उसने दरवाज़ा खोल कर मुझे बाहर जाने दिया. मई बाहर तेज़ी से भाग कर रोड पर आ गयी. अब हल्का-हल्का उजाला हो रखा था, पर किसी को पता नही चला.

मेरे दिमाग़ मे उसका भयंकर लंड घर कर गया था. मुझे ऐसा लगा रहा था, की मुझे हमेशा उसी के पास रहना है. मेरा दिल कह रहा था, की मई उसके लंड को खूब चूमू और चातु. मेरे दिमाग़ मे ये पुर टाइम घूमता रहा.

उसका वीर्या इतना था, की ऐसा लग रहा था, की मेरा पेट किसी चीज़ से भर गया था. अब मई उसकी हो चुकी थी और वो मेरा हो चुका था.

दोस्तो मई इसके आयेज की कहानी फिर बतौँगी. तब तक के लिए नमस्कार.