भाभी की चूत देवर ने चोद दाली

ही गाइस, मी नामे इस प्रवीण. मैं पुंजब का रहने वाला हू. मेरी उमर 20 साल है, और मैं 1स्ट्रीट एअर में पढ़ता हू. 12त के बाद कॉलेज के लिए मुझे चंडीगार्ह जाना था. मेरे भैया और भाभी वही पर जॉब करते थे, तो मैं उनके पास जाके रहने लगा.

भैया-भाभी की शादी अभी पिछले साल ही हुई थी, और पिछले 3 महीने से वो चंडीगार्ह शिफ्ट हो गये थे. मेरी भाभी बहुत सेक्सी है. उनका फिगर 36″28″38″ है. रंग उनका गोरा है, और बॉडी एक-दूं टाइट. जब वो जीन्स पहनती है, तो लड़को के दिल जलते है.

हर लड़का ऐसे ही फिगर वाली लड़की तो चाहता है. मैने भी पता नही कितनी बार भाभी को इमॅजिन करके अपना पानी निकाला था.

फिर जब मैं उनके घर गया, तो उन्होने मेरा बहुत ख़याल रखा. मुझे रात को भैया और भाभी की चुदाई की आवाज़े सुनाई देती थी. उनकी आवाज़ो की वजह से मुझे भी रोज़ अपना पानी निकालना पड़ता था.

मैं आते-जाते भाभी की सेक्सी बॉडी को अब्ज़र्व करता था. मैं हमेशा अंदाज़ा लगता रहता था, की वो बिना कपड़ो के कैसी दिखती होंगी, जैसे हर लड़का लगता है. भाभी को भी इस बात का एहसास था, की मैं उनके बूब्स और गांद को देखता हू. लेकिन उन्होने कभी ये जताया नही, की वो सब जानती थी.

फिर कुछ दिन बाद भाभी चक्कर खा कर गिर गयी. भैया बहुत टेन्षन में आ गये, और हम भाभी को हॉस्पिटल में लेके गये. वाहा जाके पता चला, की भाभी प्रेग्नेंट हो गयी थी. भैया ये सुन कर बहुत खुश हो गये, लेकिन भाभी ज़्यादा खुश नही लग रही थी.

उस दिन से भैया और मैं भाभी का ज़्यादा ख़याल रखने लग गये. फिर कुछ दिन बाद पता नही कैसे, भाभी का मिसकॅरियेज हो गया. ये हमारे लिए एक शॉकिंग न्यूज़ थी. अब घर में दुख का माहौल था. फिर एक दिन मैने भाभी को फोन पर अपनी फ्रेंड से बात करते सुना-

भाभी: यार मैं भी क्या करती. तरुण(मेरे भैया) बहुत खुश थे बेबी को लेकर, और मैं अभी बेबी चाहती नही थी. तो मुझे मजबूरन ये करना पड़ा, और तरुण को झूठ बोलना पड़ा.

मैं ये सुन कर शॉक हो गया, की भाभी में जान-बूझ का बच्चा गिराया था. तभी भाभी की नज़र मुझ पर पद गयी, और फोन उनके हाथ से गिर गया. मैं चुप-छाप अपने कमरे में आ गया.

भाभी थोड़ी देर बाद मेरे कमरे में आई. मैं बेड पर बैठा हुआ था. फिर भाभी बोली-

भाभी: प्रवीण मैं जानती हू, की तुझे और तेरे भैया को बुरा लगा है. लेकिन मैने जो भी क्या है, सोच समझ के किया है. अभी हमारी फाइनान्षियल कंडीशन ऐसी नही है, की मैं जॉब छोढ़ कर घर पर बैठ जौ. तो प्लीज़ तरुण को मत बताना, नही तो प्राब्लम हो जाएगी.

भाभी ने डीप गले वाली त-शर्ट और लेगैंग्स पहनी हुई थी. जब वो मुझसे रिक्वेस्ट कर रही थी, तब मेरी नज़र उनके बूब्स पर थी, जिसमे गोल्ड की चैन लटक रही थी.

तभी भाभी ने मुझे हाथ से हिलाया और बोली-

भाभी: प्रवीण तुम नही बताओगे ना?

मैं: भाभी मैं भैया से झूठ नही बोल सकता. मुझे उनको बताना ही पड़ेगा.

भाभी: नही प्लीज़. इससे हमारा रिश्ता खराब हो जाएगा.

मैं: सॉरी भाभी.

तभी भाभी ने देखा, की मेरी नज़र उनके बूब्स पर थी. ये देख कर वो बोली-

भाभी: देख अगर तू बता देगा, तो तुझे कुछ नही मिलेगा. लेकिन अगर तू नही बताएगा, तो बहुत कुछ मिल सकता है.

मैं: क्या मतलब भाभी?

भाभी: मतलब ये जो आँखों ही आँखों में तू मुझे नंगा कर देता है, अब सच में कर सकता है.

मैं: क्या मतलब है आपका?

भाभी: तू इस राज़ को राज़ रहने दे, और मैं तेरा बिस्तर गरम करूँगी. और वो भी जब तू चाहे.

ये सुन कर मैं हैरान हो गया. मुझे हैरान देख कर भाभी बोली-

भाभी: मैने देखा है तुझे मुझे देखते हुए.

मेरे लिए हा का जवाब देना बहुत आसान था. इससे पहले की मैं कुछ बोलता, भाभी मेरे बिल्कुल पास आ गयी और अपने होंठ मेरे होंठो से चिपका दिए. उनके होंठ जैसे ही मेरे होंठो से टच हुए, तो मैं पागल हो गया.

मैने पागलो की तरह उनके होंठ चूसने शुरू कर दिए. भाभी भी मेरा पूरा साथ देने लग गयी. उन्होने अपना हाथ मेरे पाजामे पर रखा, और मेरा लंड सहलाने लग गयी. मैने भी भाभी के नरम-नरम बूब्स दबाने शुरू कर दिए.

हम दोनो 10 मिनिट तक किस करते रहे. फिर जब हम अलग हुए, तो मैं भाभी ने मेरा हाथ अपने बूब्स से हटाया, और बोली-

भाभी: पहले बोल, की तू ये राज़ अपने भाई को नही बताएगा.

मैं: कों सा राज़ भाभी?

ये सुन कर भाभी खुश हो गयी, और मेरे उपर आ गयी. मैं पीछे लेट गया, और हम दोनो फिरसे किस करने लगे. मैं किस करते-करते भाभी की गांद दबाने लगा. क्या सॉफ्ट गांद थी भाभी की. भाभी वाइल्ड्ली किस कर रही थी, और मेरे उपर चढ़ रही थी.

फिर वो सीधी हुई, और उन्होने अपनी त-शर्ट उतार दी. उन्होने ब्रा नही पहनी थी, तो अब उनके गोल-गोल ब्राउन निपल्स वाले बूब्स मेरे सामने थे. फिर भाभी नीचे झुकी, और मैं उनके बूब्स चूसने लगा. क्या मज़ा आ रहा था.

मेरा लंड भाभी की गरम गांद के नीचे दबा हुआ था, और भाभी गांद हिला कर उसको और गरम कर रही थी. मैं भी उनकी गांद को अपने लंड पर दबा रहा था. फिर भाभी नीचे गयी, और मेरा पाजामा उतार दिया. मेरा 7 इंच का लंड देख कर वो बोली-

भाभी: औज़ार तो अछा है तेरा.

ये बोल कर उन्होने लंड अपने मूह में डाल लिया. मुझे तो जैसे जन्नत मिल गयी हो. भाभी का मूह इतना गरम था, की मेरा पानी 2 मिनिट में ही निकल गया. भाभी ने मेरा सारा पानी पी लिया. फिर वो उपर आके मुझे फिरसे किस करने लगी.

उन्होने अपनी लेगैंग्स उतार दी, और 69 पोज़िशन में आ गयी. मैने भाभी की पनटी उतारी, और उनकी छूट को चूसने लग गया. उधर भाभी मेरे लंड को फिरसे खड़ा कर रही थी. मेरा लंड 5 मिनिट में ही खड़ा हो गया था.

भाभी की छूट और गांद का स्वाद कमाल का था. फिर भाभी सीधी हुई, और उन्होने मेरा लंड अपनी छूट पर सेट किया. देखते ही देखते वो मेरे लंड पर बैठ गयी, और मेरा पूरा लंड उनकी छूट में समा गया.

वाह! क्या गर्मी थी उनकी छूट की. ऐसा एहसास सिर्फ़ छूट का ही हो सकता था. फिर भाभी ने अपने हाथ मेरी चेस्ट पर रखे, और लंड पर उपर-नीचे होने लगी. मुझे बहुत मज़ा आ रहा था, और मैं भी नीचे से धक्के दे रहा था.

भाभी बीच-बीच में नीचे होके मुझे अपने होंठ चुस्वा रही थी, और अपने बूब्स का मज़ा दे रही थी. मैं उनके बूब्स को पकड़ कर मसल रहा था. फिर मैने अपने हाथ भाभी की गांद पर रखे, और उनकी गांद को दबाने लगा.

भाभी मेरे लंड पर उछाल रही थी, और मदहोश होके आहह आ कर रही थी. उनके बूब्स हवा में उछाल रहे थे, और मुझे जन्नत दिखा रहे थे. फिर मैने भाभी को नीचे किया, और मिशनरी पोज़िशन में उनकी चुदाई करने लग गया.

मैं भाभी के होंठ लगातार चूस रहा था. भाभी भी मुझे बड़े मज़े से अपने जिस्म की गर्मी दे रही थी. 20 मिनिट की चुदाई के बाद मेरा पानी निकालने वाला था. मैने भाभी को बोला-

मैं: भाभी मेरा निकालने वाला है.

भाभी: अंदर मत निकालना. इसी की वजह से मैं तेरे नीचे हू.

फिर भाभी ने मेरा लंड अपनी छूट से निकाल दिया, और उसको मूह में डाल लिया. 1 मिनिट लंड चूस कर उन्होने मेरा माल पी लिया. फिर हम दोनो साथ में लेट गये. भाभी मुझे बोली-

भाभी: प्रवीण तू जब चाहे मुझे छोड़ सकता है. लेकिन ये राज़ कभी किसी को मत बताना.

मैं: भाभी आपने मुझे ये राज़ च्छुपाने की ऐसी कीमत दी है, जो किसी भी कीमत से ज़्यादा है. ये राज़ कभी किसी को पता नही चलेगा.

भाभी: थॅंक योउ प्रवीण.

मैं: भाभी एक और बार करे?

भाभी: हा-हा बिल्कुल. तुझे पूछने की ज़रूरत नही है. तू जब चाहे मेरी ले सकता है.

फिर मैं दोबारा भाभी के उपर चढ़ गया, और हम फिरसे चुदाई करने लगे. तब से लेके अब तक भाभी मुझे सच च्छुपाने का इनाम दे रही है. मेरी ज़िंदगी तो मज़ेदार हो गयी है.

दोस्तो आपको कहानी कैसी लगी, मुझे ज़रूर बताए. और कहानी को लीके और कॉमेंट ज़रूर करे.