मेरी बेहन की वर्जिन गांद मेरे दोस्तो ने चोदी

हेलो रीडर्स आप सभी को मेरा नमस्कार कैसे हो आप सब ई होप सब अच्छे होगे.

तो कहानी मे आयेज बदते है लेकिन अगर आपने पहले के पार्ट्स नही पढ़े है तो उन्हे ज़रूर पढ़े ताकि आपको पूरी कहानी का मज़ा मिल सके.

जैसा की आपको पता है आयुषी को सारे लड़को ने छोढ़ लिया था मॅन भर के. सिर्फ़ राज और रूपेश को छ्होर के, उन दोनो के अलग प्लान थे.

मई अभी भी टेबल पर बँधा हुआ था और तभी राज आया मेरे पास और मुझे खोल दिया. मई नंगा था तो मैने कपड़े की तरफ हंत बढ़ाए. मगर राज ने मुझे रोका और बोला ऐसे ही रहना है तुझे तो मई रुक गया.

राज : सुन भद्वे जा अपनी बहें को खड़ा कर और उसे सॉफ कर हुमारे लिए, अब तेरे दोनो जीजा उसे छोड़ेंगे.

मई : राज ये क्या बोल रहा है तू.. .(इतने मे मुझे एक थप्पड़ मारा रूपेश ने.)

रूपेश : भद्वेर तेरे जीजा है हम दोनो और तू हुमको नाम से बुला रहा मदारचोड़ तेरी ये औकात! चल सॉरी जीजा जी बोल.

मई : सॉरी राज जी मुझे ग़लती हो गयी और रूपेश जीजा जी मुझे माफ़ कर दीजिए.

रजनी : सुन बहें के लोड, यहा अगर तूने ना नुकुर की ना या कुछ भी करने से माना किया तो तेरी बहें अपने स्कूल ग्रूप की स्तर बन जाएगी समझा??

मई : सॉरी रजनी जो तुम लोग बोलॉगे मई वो करूँगा.

रजनी उठी और मुझे एक और थप्पड़ मारा. यहा सारे लड़को को सिर और लड़कियों को माँ बोलेगा तू समझा! कुत्ता है तुम हुमारा!

मैने हन मे सिर हिला दिया तो रजनी ने मेरे बाल नोच कर बोली “एस माँ बोल भद्वे!”

मई : एस रजनी माँ..

ये सब लोग देख कर खुश ही रहे थे. मई समझ गया की ये लोग मेरी बात नही सुनने वेल है. इसलिए मई उठा और कपड़ा ढूँडने लगा रजनी को सॉफ करने के लिए. तभी रजनी की दोस्त पूजा ने मुझे बोला-

पूजा : ओये रांड़ के भाई ये देख तेरी बहें की चड्डी, इससे सॉफ कर.

मई उसे लेने पहुचा तो उसने बोला-

पूजा : एक शर्त पे दूँगी तुझे ये, पहले तुझे मेरी चड्डी उतार के मेरी छूट और गांद को अपनी जीब से मज़े देने होंगे. और अगर माना किया तो तुझे पता है अंज़ाम क्या होगा.

मई जानता था यह बिना अपनी छूट चटवाए कुछ नही करने देगी. तो मई घुटनो पे बैठा तो पूजा ने भी अपने पावं उपेर कर दिए. मई उसकी चड्डी उतारी और बगल मे रख दी और उसने भी अब अपनी टाँगें फैला ली ताकि मई उसे अपना काम कर साकु.

उसकी छूट एक दूं सॉफ थी उसपे कोई बाल नही थी. मैने उसपे अपने जीब रखी पहले उपेर की खाल को सहलाया अपनी जीब से. फिर जीब से चाटना चालू की, पहले उसकी छूट के उपेर से फिर जीब अंदर डाल के कभी उपेर उसकी खाल को जीब से हिलता. तो कभी उसकी चूत के अंदर जीब डाल के इधर उधर घूमता.

और ऐसे ही मैने उसे 5 मीं अपनी जीब से छोढ़ा उससे बड़ा अच्छा लगा. फिर मई उठने लगा तो उसने मुझे रोका और घूम गयी. और अपनी गांद मेरे मूह पे रख दी.

मुझे पता था मई बच नही सकता हूँ इन सबसे. तो मैने उसकी गांद भी छाती उसी तरह से जैसे मैने उसकी छूट छाती थी. फिर उसने मुझे मेरी बहें की चड्डी दे दी.

मैने वो चड्डी लेके अपने बहें के उपेर गिरा हुआ माल सॉफ किया. उसके मूह पे हाथ ले बॉडी मे हर जगह माला किया हुआ था. मैने वो सॉफ किया फिर उसकी छूट के अंदर कर का माल सॉफ किया और राज को इशारा किया और बोला-

मई : राज जीजा जी मेरी बहें तैयार है आपके लिए.

ये बोलते ही आयुषी ने मुझे देखा और अजीब सा लुक दिया. फिर उसने अपनी नज़र हटा ली और अगले इंतेहाँ के रेडी हो गयी.

पहले रूपेश आया और उसने आयुषी को घोड़ी बनाया और उसकी गांद पे हाथ फेरने लगा. आयुषी समझ गयी क्या होने वाला है उसने तुरंत राज को दर की आँखों से देखा-

आयुषी : प्लीज़ राज भैया पीछे ना करो आयेज कार्लो. मई कुछ भी माना नही करूँगी बस पीछे नही.

राज : देख रंडी करूँगा मई तो पीछे ही, सीधे सीधे करवाएगी या व्हातसपप पे फेमस होके ये तेरी मर्ज़ी.

आयुषी दर्र के मारे रोने लगी और बोलने लगी प्लीज़ आराम से करना.

राज : ये हुआ ना बात रंडी.

फिर राज ने आयुषी की गांद को सेट किया और उसपे ठुका और गांद के छेड़ के उपेर रगड़ने लगा. आयुषी हर रग़ाद के हल्का हल्का चिल्ला रही थी.

राज : सुन रंडी मेरे 5 गिनने तक अपना छेद तोड़ा ढेला करले दर्द कम होगा. वरना तू चिलाएगी और तेरी आवाज़ सुन के पड़ोसी भी आजाएँगे और फिर उन्हे भी देनी पड़ेगी.

ये सुन की सब हासणे लगे तभी रजनी ने मूज़े अपने पास बुलाया और कॅमरा दिया और बोला-

रजनी : जेया अपनी रांड़ बहें का चेहरा रेकॉर्ड कर डालते वक़्त. मुझे उसकी गांद फट’ते वक़्त उसका चेरा देखना है.

मैने भी रेज़िस्ट करना बंद कार्डिया था, मैने उससे कॅमरा लिया और आयुषी के मूह की तरफ करके रेकॉर्ड करने लगा. और आयुषी बस मुझे भी देख रही थी.

अब राज से गिनती चालू की 1….2….3 (और उसने 3 पर ही डाल दिया.)

आयुषी : आआआहह नाहियीईईईई मुम्मय्ी…..

आयुष्ीि बहुत ज़ोर से चीखी इतनी ज़ोर से की घर के बाहर आवाज़ गयी होगी शायद पड़ोसियों को सुनाई भी दी होगी.

आयुषी : राज भैया मई मार जौंगी प्लीज़ निकालो मई पैर पड़ती हूँ प्लीज़ निकालो ना… और वो ज़ोर ज़ोर से रो रही थी.

उसका पूरा गांद फटने का एक्सप्रेशन कॅमरा मे रेकॉर्ड हो गया था.

मैने आयुषी की गांद देखी तो राज का सिर्फ़ आधा लंड ही घुसा था, वो उतना ही लंड आयेज पीछे कर रहा था.

रजनी : चल भद्वे अपने जीजा से रिक्वेस्ट कर अपनी बहें की गांद मरने को!

मई : राज जीजा जी प्लीज़ मेरी बहें की गांद को छोढ़ दीजिए प्लीज़ उसे फाड़ दीजिए ये आपकी बीवी है (तभी रजनी ने मुझे बोला रांड़ बोल रांड़!) सॉरी रांड़ की गांद फाड़ दीजिए.

राज मुस्कुराया और पूरा लंड अंदर घुसा दिया एक ही झटके मे.

अब आयुषी का दर्द हड्द से पार हो गया था. वो हल्का हल्का होश खो रही थी. राज फिर भी उसे छोढ़ रहा था घोड़ी बना के उसकी सवारी कर रहा था मज़े से.

कुछ 15 मिनिट छोड़ने के बाद राज ने आख़िरी झटका मारा और सारा माल आयुषी की गांद मे भर दिया. आयुषी अभी हल्के से होश मे थी और सिसकिया लेके रो रही थी.

राज फिर उठा और उसने उसका लंड आयुषी के मूह मे डाला और आयुषी ने उसे सॉफ कर दिया छत के तुरंत. तो मुझे बड़ा हैरानी हुई की थोड़ी देर पहले तो रो रही थी अभी मज़े से चूस रही है.

अब बारी थी रूपेश की उसका लंड राज से मोटा था. तो उसने आयुषी को घोड़ी से उठा दिया और गोद मे उठा लिया और मुझे आयुषी की गांद सॉफ करने को बोला. मैने उसी पनटी से उसकी गांद सॉफ की और फिर रूपेश ने बोला-

रूपेश : चल भद्वे अपने बहें की गांद मे मेरा लोड्‍ा सेट कर.

मई : जी रूपेश जीजा जी अभी करता हूँ.

मई भी अब शरम लिहाज़ भूल गया था. जब बहें चुड ही चुकी थी उसके दोनो च्छेद खुल ही चुके थे तो अब क्या नाटक करना. मैने भी रूपेश का लंड आयुषी की गांद पे लगाया और रूपेश के लंड का टोपा अंदर कर दिया.

आयुषी को दर्द तो हुआ मगर अबकी वो चिल्लाई नही बस आहें भर रही थी.

रूपेश ने एक झटका मारा और गांद मे पूरा लंड डाल दिया. आयुषी फिर चीखी अबकी तोड़ा धीमे से और बोली-

आयुषी : आराम से करो रूपेश प्लीज़…

मुझे हैरानी हो गयी की आयुषी माना करने के सिवा धीरे करने को बोल रही है.

मगर आराम से करने के मूड मे नही था. उसने अपनी स्पीड मे छोड़ना चालू किया भौत तेज़ तेज़ झटके लगाए. लेकिन अबकी आयुषी उसका साथ दे रही थी और ऊ आ की आवाज़ें भी निकल रही थी. मई समझ गया की आयुषी भी रांड़ बन चुकी है उसको मज़ा आ रहा है.

रूपेश ने 10 मीं छोड़ा और झाड़ गया और आयुषी को लाके सोफे पे पटक दिया और आयुषी भी बेहोश सी गिर पड़ी सोफे पे.

मैने घड़ी देखी अभी 1:30 बाज चुके थे. सबने आयुषी को रेस्ट देने का फ़ैसला किया और खाना बाहर से ऑर्डर किया. 2 बजे खाना आया, रजनी ने मुझे खाना लेने जाने को बोला. मई नंगा था तो कपड़े पहनने लगा तो रजनी ने बोला की “तू जाएगा या तेरी बहें नंगी डिसाइड करले?”

मई चला गया मगर रूपेश ने मुझे रोका और मेरे गले पे एक पर्ची लटका दी जिसपे लिखा था “रंडी का भाई” और बोला अब जा लेने. मैने गाते खोला दिलेवेरी बॉय ने मुझे देखा तो नज़र हटा ली.. बोला सिर कुछ पहें के आइए तो मैने कहा ” जल्दी ऑर्डर दे फिर तू जेया.”

खैर उसने मुझे ऑर्डर दिए मेरे गले पर की पर्ची पढ़ी और हास दिया और पैसे लेके चला गया.

मैने खाना राज की दिया हम सबमे खाना खाया और आयुषी ने भी फिर सब अपने रौंद के लिए तैयार हुए. मैने घड़ी देखी तो 2:30 हो रहे थे.

अबकी बार सबने आयुषी की गांद मारी 15 से 20 मिनिट और आयुषी ने भी अबकी बार उन सबका साथ दिया तोड़ा सा खुलके. और अच्छे से सबके लंड झड़ने के बाद सॉफ किए

फिर रजनी पूजा माया और रिया उतनी उन्होने आयुषी से अपनी छूट और गांद चटवाई. सिर्फ़ माया थी जो झाड़ गयी वो भी आयुषी के मूह मे ही. बाकी फिर सब तक गये थे सबको नींद आने लगी. मैने घड़ी देखी तो 5 बाज रहे थे फिर सबने अपने कपड़े पहने और चले गये.

राज ने आयुषी को नंगा आने के लिए बोला गाते तक. आयुषी को भी अब जैसे दर्र नही था, वो भी नंगी गाते तक आई और जब सब चले गये. तो उसने गाते बंद किया और अपने कमरे मे चली गयी बिना कपड़े पहने और फिर मैने कडपे पहने और अपने कमरे मे चला गया.

तो दोस्ता इस कहानी मे बस इतना ही. आयेज की कहानी जल्द आएगी बाकी आपको अपने विचार लिखने हो तो बेवाफ़ग्फमेरी69@गमाल.कॉम पर ज़रूर भेज.ए मुझे पिछली कहानियों पे एमाइल और कॉमेंट कम आए दोस्तो मुझे अपने विचार ज़रूर भेजे. मिलते है अगले पार्ट मे जल्द ही.