कमवाली को चोदा, और उसको बहू बनाया

ही फ्रेंड्स, मैं राज आप सब के लिए अपनी कहानी का अगला पार्ट लेके आया हू. उमीद है आपको पिछला पार्ट पसंद आया होगा. अगर आपने अभी तक पिछला पार्ट नही पढ़ा है, तो प्लीज़ पहले जाके वो पढ़े. इससे आपको कहानी का आचे से मज़ा आएगा.

पिछले पार्ट्स में आप सब ने पढ़ा, की मैं अपनी कंवली मधु को छोड़ने के लिए पागल था. मैने पूरा प्लान भी तैयार कर लिया था. लेकिन मेरा पूरा प्लान फ्लॉप हो गया, क्यूंकी मेरा बेटा उसको पहले से छोड़ रहा था. पर मैने उनकी चुदाई रेकॉर्ड कर ली. अब आयेज बढ़ते है.

चुदाई पूरी होने के बाद मैं घर से बाहर आ गया. फिर बाहर आके मैने अपने बेटे को फोन किया. बेटे ने फोन उठाया.

अक्षित: हेलो, जी पापा.

मैं: बेटा मैं घर आ रहा हू. तेरी मम्मी बोल रही थी, तेरी तबीयत खराब है. अब तू ठीक है?

अक्षित: जी पापा, पहले से काफ़ी फराक है.

मैं: कुछ चाहिए बाहर से तो बता.

अक्षित: कुछ नही चाहिए पापा.

फिर मैं थोड़ी देर में घर चला गया. जब मैं घर गया, तो मधु जेया चुकी थी. अब मैं अगले दिन की वेट कर रहा.

अगले दिन जब मधु आई, तो सब अपने काम पर जेया चुके थे. वो धीमी स्पीड में चल रही थी. अब एक दिन पहले इतनी चुदाई होगी, तो धीरे-धीरे तो चलना ही था. फिर मैने जान-बूझ कर उससे पूछा-

मैं: क्या बात है मधु, इतनी धीरे-धीरे क्यूँ चल रही हो?

मधु: कुछ नही सिर, मेरे पैर की नास्स चढ़ गयी थी रात में. दर्द की वजह से नही चला जेया रहा.

मधु ने सफेद रंग का पाजामी सूट पहना हुआ था. उसमे वो बहुत खिल रही थी. दिल तो कर रहा था की उसको वही पर पकड़ लू, लेकिन मुझे सोच समझ कर चलना था. फिर मैं जल्दी से खड़ा हुआ और बोला-

मैं: आओ मैं तुम्हारी किचन तक जाने में हेल्प करता हू.

ये बोल कर मैने मधु को कमर से पकड़ लिया. क्या मुलायम कमर थी मधु की. मेरे इस तरह से अचानक उसको पकड़ने से मधु तोड़ा अनकंफर्टबल हो गयी. फिर जब किचन पहुँचे, तो मैं उसके पीछे आ गया, और अपना लंड कपड़ो के उपर से उसकी गांद पर सत्ता दिया. उसकी गांद पर लगते ही मेरा लंड टाइट हो गया.

मधु को लंड फील हो गया, और वो मुझे पीछे हटाने की कोशिश करने लगी. तभी मैं अपने हाथ आयेज ले गया, और दोनो हाथ उसके बूब्स पर रख लिए. मैं उसके बूब्स को मसालने लग गया. तभी मधु ने मुझे धक्का मारा, और बोली-

मधु: ये आप क्या कर रहे है? आपको शरम नही आती?

मैं: क्यूँ, अगर बेटे के साथ कर सकती हो, तो बाप के साथ करने में क्या हर्ज है?

ये सुन कर वो तोड़ा घबरा गयी. फिर वो बोली-

मधु: क्या मतलब है आपका?

मैने उसी वक़्त फोन निकाला, और उसको उसकी और मेरे बेटे की चुदाई की वीडियो दिखाई. वीडियो देख कर उसके चेहरे पर ऐसा एक्सप्रेशन था, जैसे उसकी गांद फटत रही हो. फिर मैने उसको बोला-

मैं: दूसरे घर में आके मिलो, बात करनी है.

ये बोल कर मैं चला गया. हमारा एक दूसरा घर भी है, जो हमने किराए पर दे रखा था. फिलहाल वो खाली था. मैं वाहा पहुँचा, तो 5 मिनिट बाद मधु आ गयी. फिर वो बोली-

मधु: सिर आपका बेटा भी तो है वीडियो में. उसका आप क्या करेंगे?

मैं: अपने बेटे को मैं संभाल लूँगा. तुम अपने घर पर क्या जवाब डोगी. तुम्हे नौकरी से निकाल दिया जाएगा. फिर कोई लड़का शादी भी नही करेगा तुमसे.

ये सुन कर मधु के चेहरे पर परेशानी आ गयी. फिर वो बोली-

मधु: आप क्या चाहते है मुझसे.

मैं: मुझे तुम्हे छोड़ना है, और अपनी रंडी बनाना है हमेशा के लिए.

मधु: आपकी रंडी बन कर कों सा मेरी शादी हो जाएगी.

मैं: होगी, मैं तुम्हारी शादी अपने बेटे से करवा दूँगा. अगर वो नही माना, तो ये वीडियो दिखा कर शादी करवा दूँगा. इससे तुम्हारी शादी भी हो जाएगी. और तुम मेरी रंडी भी बन कर रह सकती हो.

ये सुन कर मधु खुश हो गयी. तभी मैने उसको पकड़ कर अपनी बाहों में भर लिया. मैने अपने होंठ उसके होंठो से मिला दिए, और पागलों की तरह उसके होंठ चूसने लगा. वाह! जितना मैने सोचा था, उससे कही ज़्यादा रस्स था उसके होंठो में.

होंठ चूस्टे हुए मैं उसकी बॅक पर हाथ फेरने लगा, और गांद दबाने लगा. इससे वो गरम हो रही थी. फिर मैने उसका शर्ट निकाल दिया, और उसकी गर्दन, क्लीवेज, और शोल्डर्स पे किस करने लगा. बड़ी स्मूद स्किन थी उसकी. किस करने में बहुत मज़ा आ रहा था.

फिर मैने उसको घुमाया, और उसकी पीठ पर किस करने लगा. मैं उसकी पीठ पर जीभ फेर रहा था, और वो आहह आ कर रही थी. फिर मैने उसकी ब्रा खोल दी, और उसको अपनी तरफ घुमा लिया. ब्रा निकाल कर मैं उसके सेक्सी बूब्स चूसने लगा.

वो मदहोश हो रही थी. बड़ी आग थी साली में. फिर मैने उसको किस करते हुए बाहों में उठाया, और अंदर बिस्तर पे ले गया. अंदर जाके मैने उसको बिस्तर पर पटक दिया, और उसकी पाजामी और पनटी निकाल दी. अब उसकी सेक्सी छूट मेरे सामने थी. छूट थोड़ी सूजी हुई थी कल की चुदाई की वजह से.

मैने उसकी छूट को चाटना शुरू कर दिया, और वो कामुक सिसकियाँ लेने लगी. उसकी छूट धड़ा-धड़ पानी छ्चोढने लगी. जब छूट पूरी तरह से गीली हो गयी, तो मैने अपने कपड़े उतार दिए. अब मेरा मोटा तगड़ा लंड उसके सामने था.

मेरा लंड मेरे बेटे के लंड जितना ही लंबा था, बस मोटा उससे ज़्यादा था. मैने लंड उसकी छूट पर लगाया, और रगड़ने लगा. वो लंड लेने के लिए मर्री जेया रही थी. फिर मैने उसकी छूट के मूह पर लंड रखा, और चूतड़ आयेज करके अंदर डालने लगा.

उसने दर्द से आँखें बंद कर ली, और मैने धक्के मार-मार कर पूरा लंड अंदर घुसा दिया. जैसे ही पूरा लंड अंदर गया, उसके मूह से ज़ोर की चीख निकली. मैने उसके होंठो को अपने होंठो से बंद कर दिया, और तेज़ी से उसको छोड़ने लग गया. बड़ा मज़ा आ रहा था. उसको कब से छोड़ना चाहता था मैं, तो मुझे अद्भुत संतुष्टि मिल रही थी.

जब उसका दर्द कम हुआ, तो मैने होंठ छ्चोढ़ कर बूब्स चूसने शुरू कर दिए. तभी वो आ आ करने लगी, और उसका पानी निकल गया. अब उसकी छूट बहुत ज़्यादा गीली हो गयी थी, तो मैने लंड उसकी छूट से निकाला, और टाँगो को पूरा मोड़ कर लंड गांद के च्छेद पर लगा लिया.

इससे पहले की वो माना करती, मैने ज़ोर से धक्का मार कर लंड गांद में घुसा दिया. वो चीखने लगी, तो मैने उसका मूह अपने मूह से बंद किया. फिर मैं ज़ोर-ज़ोर से उसकी गांद छोड़ने लगा. बड़ी टाइट गांद थी साली की. बड़ा मज़ा आ रहा था. 15 मिनिट गांद छोड़ने के बाद मैने अपना माल उसकी गांद में निकाल दिया.

इस चुदाई के बाद मैने उसको काई बार छोड़ा. फिर अपने बेटे की उससे शादी करवा दी. हमारे संबंध आज भी बने हुए है, और मेरे बेटे को इस बात का कोई अंदाज़ा नही है.

कहानी पढ़ने के लिए धन्यवाद.