सेक्सी पड़ोसन भाभी के जिस्म पर डाला हाथ

ही फ्रेंड्स, मेरा नाम यश है. मैं पुणे, महाराष्ट्रा से हू. मेरी उमर 21 साल है, और मैं कॉलेज में पढ़ता हू. मेरी हाइट 5’11” है, और बॉडी भी ठीक-ताक है. लंड मेरा 7 इंच का है, और किसी भी औरत को संतुष्ट करने के लिए काफ़ी है. अब मैं सीधे कहानी पर आता हू.

हमारे पड़ोस में एक कपल रहता है. भैया का नाम राकेश है, और भाभी का नाम मनीषा. उनका एक 2 साल का बेबी भी है. वो लोग एंपी से बिलॉंग करते है, लेकिन भैया की जॉब की वजह से यहा रहते है. जब वो यहा आए थे, तो पापा ने उनकी सेट्ल होने में बहुत हेल्प की थी. इसलिए उनके हमारे साथ रिलेशन्स बहुत आचे है.

अब बात करते है स्टोरी के मैं कॅरक्टर की, जो की है मनीषा भाभी. भाभी गोरी है, और 5’6″ लंबी है. बदन भरा हुआ है, जिसका साइज़ 36-30-38 होगा. उनको देख कर किसी भी मर्द का लंड खड़ा हो सकता है.

ऐसा ही हाल कुछ मेरा भी होता है, जब भी मैं उनको देखता हू. भाभी हाउसवाइफ है, तो हमेशा घर पर ही रहती है. घर पर होने की वजह से वो हमेशा निघट्य या त-शर्ट पाजामा में रहती है. बहुत बार तो उन्होने ब्रा या पनटी भी नही पहनी होती.

अब अगर इतने सेक्सी बदन वाली भाभी ऐसा करेगी, तो हमारी नज़र तो उनके जिस्म पर जाएगी ही. मैने काई बार उनके बड़े-बड़े बूब्स और बूब्स के निपल्स के दर्शन किए है, जब वो नीचे झुकती है. ब्रा ना पहनी होने की वजह से उनके लटकते बूब्स के बीच का रास्ता भी नज़र आता है.

जब वो पनटी पहनती है, तो नाइट सूट में उनकी पनटी की लाइन्स हमेशा दिखती है. और अगर कही पनटी ना पहनी हो, तो फिर तो उनका पाजामा और निघट्य उनकी गांद में ही घुसे रहते है. मैं ही नही, मोहल्ले के बाकी लड़के भी भाभी की इस सेक्सी बॉडी को देखने का पूरा मज़ा लेते है.

लेकिन मुझे बाकी सब लड़कों के मुक़ाबले में एक अड्वॅंटेज है. और वो ये है की भाभी रेग्युलर्ली हमारे घाट आती-जाती रहती है. मुझे भी काई बार उनके घर जाने को मिलता है. ये आना-जाना इसलिए होता है, की भाभी ने अक्सर सब्ज़ी नही बनाई होती, तो वो मम्मी से आके ले जाती है. इससे काई बार मुझे भी उनको सब्ज़ी देने जाने का मौका मिल जाता है.

भाभी की सबसे बुरी आदत ये है की वो कामचोर है, और कोई काम ढंग से नही करती. अब सब्ज़ी की ही बात लेलो. साली रोज़ हमारे घर सब्ज़ी माँगने चली आती है. लेकिन मुझे उसकी ये चीज़ बड़ी अची लगी. क्यूंकी उसकी इसी कामचोरी ने मुझे उसकी छूट दिलवा दी. इस कहानी में मैं आपको यही बताने वाला हू, की मैने भाभी को कैसे चोदा.

10 नवेंबर, यानी की दीवाली से 2 दिन पहले भाभी हमारे घर आई. वो मम्मी से कहने लगी की वो दीवाली की सफाई कर रही थी घर में, और चेर से उसका पैर फिसल गया. और इसकी वजह से मोच आ गयी. उसने कहा की वो मोच की वजह से ठीक से सफाई नही कर पा रही थी, तो उसने मम्मी को बोला मुझे उसकी हेल्प करने भेजने को.

फिर मम्मी मेरे पास आई, और उन्होने मुझसे पूछा की क्या मैं भाभी की हेल्प करने जेया सकता था. मैने मम्मी के सामने तो ऐसा दिखाया की मैं जाना नही चाहता, और उनके कहने पर जेया रहा था. लेकिन अंदर ही अंदर मैं बहुत खुश था. ऐसा इसलिए था क्यूंकी भैया सारा दिन काम पर ही रहते थे, तो शायद अकेले में मेरा काम बन जाता.

फिर जब मैं उनके घर गया, तो भाभी ने मुझे ऑलमोस्ट पुर घर की सफाई गिना दी. उस दिन भाभी ने निघट्य पहनी हुई थी, लेकिन नीचे ब्रा नही पहनी थी. बस भाभी के बूब्स देखते ही मैं एनर्जी से फुल हो गया, और पूरा घर सॉफ करने को रेडी हो गया.

शुरू-शुरू में भाभी भी मेरे साथ लगी रही, लेकिन आधे घंटे बाद भाभी बोली-

भाभी: यश मेरे पावं में बहुत दर्द हो रहा है.

मैं: भाभी आप जाओ आराम करो. मैं ये सब देख लूँगा.

मेरी बात सुनते ही वो कामचोर भाग कर अपने रूम में चली गयी, और आराम से सो गयी. मैं कुछ देर सफाई करता रहा. फिर मैने सोचा की क्यूँ ना भाभी को देखा जाए. ये सोच कर मैं धीरे से उनके रूम के बाहर गया.

फिर मैने धीरे से अंदर झाँका, तो भाभी घोड़े बेच कर सो रही थी. वो बिल्कुल सीधी लेती थी, और उनके बूब्स पुर खड़े थे. उनको देख कर दिल तो कर रहा था की जाके छोड़ने लग जौ. लेकिन मुझे ऐसा करने में दर्र लग रहा था.

पर मेरी वासना मुझ पर हावी हो गयी, और उसने दर्र को भगा दिया. फिर मैं धीरे से भाभी के रूम में गया, और उनके पास जाके खड़ा हो गया. वो सोई हुई बड़ी सेक्सी लग रही थी, और उनको देख कर मेरा लंड खड़ा हो रहा था. फिर मैने और हिम्मत की, और घुटनो के बाल बेड के पास बैठ गया.

अब मैं उनके बिल्कुल करीब था, और उनके बदन से आती हुई खुश्बू को महसूस कर पा रहा था. फिर मैने अपना हाथ आयेज बढ़ाया, और हल्के से उनकी जाँघ पर रख दिया. वाह क्या सॉफ्ट जाँघ थी उनकी, एक-दूं ज़बरदस्त.

बड़ा अछा रहा था मुझे. जब भाभी ने रेस्पॉंड नही किया, तो मैं अपना हाथ उनकी पूरी लेग पर फेरने लगा. मैं नीचे से हाथ उपर लाते हुए उनकी निघट्य भी उपर करने लगा. उनकी लेग्स पर ज़रा भी बाल नही थे. मैने धीरे-धीरे उनकी निघट्य उनकी जांघों से उपर कर दी, और अब उनकी पनटी निघट्य के नीचे से दिख रही थी.

भाभी ने ब्लॅक पनटी पहनी थी, जो बहुत सेक्सी लग रही थी. फिर मैने पनटी के उपर से उनकी छूट पर हाथ रखा. बड़ी गरम-गरम जगह थी. मैं धीरे-धीरे उनकी छूट वाली जगह पर अपनी उंगली रगड़ने लगा. इससे भाभी की साँसे तेज़ होने लगी. लेकिन वो जागी नही. फिर मैने उनकी पनटी के अंदर हाथ डाल लिया.

इसके आयेज क्या हुआ, वो आपको अगले पार्ट में पता चलेगा. अगर आपको कहानी पसंद आई हो, तो इसको अपने फ्रेंड्स के साथ भी शेर करना ना भूले. अगला पार्ट जल्दी ही आएगा.