बबिता मेडम हुई मेरे लंड की दीवानी

My boyfriend meri kuwari chut chodna chahta tha. Is kahani me padhiye kaise usne apna bada sa lund meri chut me pel diya.हेलो दोस्तो, जैसा की आपने पढ़ा के कैसे मई ओर रश्मि मेडम के घर टुटीओन पढ़ने गये ओर मेडम ने हमे छ्चोड़कर सबको घर भेज दिया फिर मेडम भी मेरी रंडी बनने पेर राज़ी हो गयइ.

रश्मि भले ही मुझे शेर ना करना चाहती हो लेकिन फिर भी उसको मेडम की बात माननी पड़ी क्यूकी उसको दर्र था के कही मेडम किसी को कुछ बीटीये ना दे.

अब आयेज…

मई मेडम की गांद चाट रहा था ओर रश्मि वो पूरा सीन अपने फोन मे रेकॉर्ड कर रही थी. फिर मई उठा ओर अपना लंड मैने मेडम की गांद मे डालने लगा.

मेडम ने आज तक अपनी गांद कभी भी नि मरवाई थी. मेडम की गांद बोहोट मोटी ओर फूली हुई थी. क्लास मे जब वो ब्लॅकबोर्ड पेर कुछ लिखती थी या डस्टर से मिटा ती थी तब उनकी गांद बुरी तरह हिलती थी.

मई झुत नि बोलूँगा लेकिन बबिता माँ मुझे रश्मि से ज़्यादा सेक्सी लग रही थी. खैर मैने अपना लंड पकड़कर हल्के से मेडम की गांद मे डालने की कोशिश की लेकिन मेरा लंड जेया ही नि रहा था.

अब मैने एक ज़ोर का झत्तक्ा मारा तो मेरे लंड का सूपड़ा मेडम की गांद मे घुस गया. मेडम एकद्ूम उछाल पड़ी ओर मेरा लॉडा अपनी गांद से निकाल लिया…

मैने रश्मि को उठाया ओर उसको बोला के “पकड़कर रख इसको रंडी को रश्मि”. रश्मि ने आयेज से मेडम को पकड़ लिया ओर मैने पीछे से उनकी कमर से उनको जाकड़ लिया ओर उनको गंद खोलने को बोला.

वो वैसा ही करती गयइ जैसा उनको बोला जेया रहा था. मैने तभी अपने लंड से एक ओर प्रहार किया. इस बार लंड आधा घुस्स गया मेडम की छूट मे.

मेडम दर्द से करहने लगी. उनसे सहें नि हो पा रहा था. वो वही ज़मीन पेर पूरी उल्टी ही लेट गयइ. रश्मि उनके मूह की तरफ अपनी स्कर्ट खोलकर बैठ गयइ.

और मई उनकी गांद पेर ही बैठा रहा लेकिन अपना लंड बाहर नि निकाला. मेडम चिल्लाने लगी…..

अहह प्लीज़ इसको निकाल लो प्लीज़ वरना मई मार जौंगी आआहह आआअहह आआहह प्लीज़ रश्मि इसको बोल दे निकाल देगा…

तभी रश्मि बोली :- इसने तो कभी मेरी नि सुनी मेडम आपकी क्या सुनेगा.

और फिर मैने फिरसे एक ओर झत्तक्ा लगाया ओर मेरा लॉडा पूरा मेडम की गांद मे चला गया. मेडम इधर उधर उछालने लगी जैसे पानी से निकालकर मछली तादपती है.

मेडम की आँखो से आनसो आने लगे ओर उनकी आवाज़ जैसे डब सी गयइ. मैने फिर तोड़ा बाहर किया ओर फिर अंदर डाल दिया. मैने फिर ऐसे ही 2-3 बार किया जिससे मेडम का दर्द तोड़ा कम हो गया.

मेडम फिर बोलने लगी…. आहहाअ अक्षय तूने मेरी गांद फाड़ दी सॅकी मे…… आजतक मैने ऐसा लंड कभी नि खाया…. इतना सख़्त इतना बड़ा….

मुझे और जोश चढ़ने लगा ओर मैने फिर तेज़ तेज़ झततक्े लगाने स्टार्ट कारडीए. मेडम की गांद पेर मेरी थाइस जब लग रही थी तो कककघहत्तत्त कककघहत्तत्त आवाज़ आराही थी ओर मेडम चिल्लाए जेया रही थी…

आअहह छ्चोड़ दे मुझे आअहह रश्मि रंडी को लेकर आया है जिससे मई च्छुतकर भागू नही…. इस राक्षसी लॉड से मेरी छूट भी मार ना आआहह फक मे आअहह फक मे हार्डर…

मई मेडम की गांद ऐसे ही लिटाए लिटाए मारे जेया रहा था. मुझे ओर मेडम को देखकर रश्मि भी गरम होने लगी थी. ओर वो खड़ी हुई ओर बिल्कुल नंगी हो गयइ.

ओर मेरे पास आकेर उसने एक टाँग मेरे कंधे पेर रखली ओर मुझसे अपनी छूट चटवाने लगी. बस ये ही तो अदा थी रश्मि के अंदर जो मुझे उससे जोड़कर रखे हुए थी.

मैने फिर मेडम को उठाया ओर सोफे पेर लिटा दिया. मेडम भी थोड़ी आराम की साँस लेने लगी. इतने मैने रश्मि को अपने उपर बैठा लिया ओर रश्मि ने अपनी छूट मे मेरा पूरा लंड डालकर उसपेर उछालने लगी.

मई रश्मि की चुचिया पकड़ कर चूसने लगा.. फिर मेडम भी मेरे पास आकेर बैठ गयइ. मई फिर मेडम के चुचो पेर अपने हाथ फेरने लगा.
और रश्मि भी मेडम के चुचो पेर हाथ चला रही थी.

मेडम को बोहोट मज़ा आने लगा वो अपनी छूट को रगड़ने लगी. हम 1स्ट्रीट फ्लोर पेर थे. तो आयेज एक बाल्कनी थी वो घर के पीछे वाली साइड मे थी ओर खुली रहती थी.

मेडम ने वाहा पेर पर्दे लगा रखे थे. जो की हवा से हिल रहे थे. ओर उससे ये हो रहा था के हमे लगा कोई हमे देख ना ले इसलिए हम तीनो बेडरूम मे आगये नंगे ही.

मुझे ओर रश्मि को मेडम ने जब उपर बुलाया था तब हम दरवाज़ा भी लॉक करना भूल गये थे. मेडम के पति आज ही आगये ऑफीस से क्यूकी उनकी वो कान्फरेन्स कॅन्सल हो गयइ थी.

उनका नाम अभिजीत था वो एक मल्टिनॅशनल कंपनी मे काम करते थे. सॅलरी अची थी लेकिन काफ़ी बार बाहर जाना होता था. जिसकी वजह से उनकी पत्नी उनसे नाराज़ रहने लगी थी.

और फिर छोड़ने मे भी इतने माहिर नि थे. 10 मीं मुश्किल से टिक पाते थे. काई दवाई भी ट्राइ की ओर काई डॉक्टर्स से कन्सल्ट किया लेकिन कोई हाल नि निकला.

अब कहानी पेर आते है… दरवाज़ा खुला देख अभिजीत अंदर आगया. और उपर से आराही आहह उउउहह की आवाज़ो से वो तोड़ा डरा ओर दबे पाओं से उपर आगया.

और जैसे ही उसने बेडरूम का दरवाज़ा खोला. उसके पैरो तले ज़मीन खिसक गयइ. उसको लगा जैसे उसकी रियासत लूट ली गयइ हो. उसकी बीवी किसी गैर मर्द के लंड के उपर बैठकर कूद रही है.

और एक ओर लड़की उसकी चुचिया दबा रही है. तभी जब मेडम को दिखा के कोई है पीछे. तो वो मेरे लंड से नीचे उतार गयइ. और बोली “अभिजीत तुम”.

हम दोनो समाज गये के ये मेडम के पति है. अब हमारी खैर नही थी. अभिजीत वो सब देखकर अपने कमरे मे चला गया ओर बबिता माँ उनके पीछे पीछे नंगी ही बागी हुई चली गयइ.

मैने ओर रश्मि ने इतने मे अपने सारे कपड़े पहने ओर बाहर आकेर सोफे पेर बैठकर अपने उपर जो फरमान जारी होने वाला था उसका इंतेज़ार करने लगे.

मेडम की ओर उनके पति की एक भी आवाज़ नि आराही थी. प्तनी मेडम उनको कैसे समझा रही थी. समझा भी रही थी या सो गयइ थी. प्तनी चल रहा था क्यूकी हमे वाहा पेर बैठे हुए 20मीं के करीब हो गये थे.

फिर भी हम दोनो वही पेर बैठे रहे. लगभग 1 घंटे बाद वो दोनो कमरे से बाहर निकालकर आगये. और फिर बबिता माँ मुझसे बोली… “अभिजीत किसी को कुछ नि ब्ताएगा… लेकिन उसको भी छूट चाहिए.”

मई :- तो तेरी ले लेता ना..

मेडम :- उसको नयी छूट चाहिए अब…

मई :- ज़बरदस्ती गले पद रही हो.

उसको बोल मई रश्मि को किसी ओर से कभी भी नि चड़वौनगा….

मेडम :- वैसे ही जैसे तूने रश्मि को अपनी बहें से भी कभी चुडवाया ही न्ही है..

मई :- माँ आपको कैसे टा..

मेडम :- तेरी दीदी मेरी फ्रेंड है फ्ब पेर जब मैने उससे कॉनडम्स के बारे मे पूछा तो उसने मुझे पूरा बीटीये दिया था.

रश्मि :- माँ आपके पति आपको तो खुश कर नि पाते है मुझे क्या करेंगे.

अभिजीत :- आबे एहह रंडी आके देख तो तेरे लिए मेरा लंड कैसे खड़ा है…. असल मे मुझे तेरे जैसी स्कूल की रंडिया बोहोट पसंद आती है..

रश्मि :- अछा दिखाईओ ज़रा अपना नूनन्ू..

मई :- रश्मि चल मज़े लेले आज तू भी… मेडम आज ग्रूप सेक्स करते है.

मेडम :- क्यू नही मेरे मलिक..

जैसे ही अभिजीत ने मेडम के मूह से मेरे लिए मलिक शब्द सुना वो तोड़ा हक्का बक्का रह गया ओर वो इशारो मे ही बबिता माँ से पूछने लगा “मालिक”.

मेडम :- मई आजसे इसके लंड की गुलाम हू. ये मेरा मलिक है. ये मुझे जब बोलेगा, जहा बोलेगा, ओर जिससे बोलेगा मई उससे चड़वौनगी.

अभिजीत :- ये तह नि हुआ था हमारे बीच…

मेडम :- चुप रह गान्डू साला खुद से कुछ होता नि है… पत्नी को रोक कर रखता है… दूसरो से चूड़ने से.

अभिजीत को माँ हमारे सामने ही ह्युमिलियेट कर रही थी. अभिजीत उसको सुनता जेया रहा था. फिर रश्मि उठी ओर अभिजीत का लंड उसके अंडरवेर से बाहर निकाला.

उसका लंड खड़ा हुआ था लेकिन 3 इंच का ही था. रश्मि उसको देखकर हासणे लगी. लेकिन मैने उसको इशारो मे ही बोल दिया के “मज़ा देदे इस बेचारे को भी”.

रश्मि उसका लंड अपने मूह मे पूरा ले रही थी ओर फिर उसके आँड भी साथ मे ही लेने लगी. इतने मे मेडम भी मेरे पास आगयइ ओर मैने फिरसे कपड़े जो पह्न लिए थे उनको उतारने लगी.

बबिता माँ लंड की प्यासी थी ये तो टा लग ही रहा था. लेकिन इतनी छुदास भारी हुई थी उनमे के मेरी रंडी बनने को तय्यार थी. ये मुझे नि टा था.

मेडम ने मेरा लंड निकाला ओर अपने मूह मे डाल लिया. वो मेरा लंड पूरा ले नि पारही थी. लेकिन लेने की कोशिश कर रही थी. वो अपने आप को चोक कर रही थी मेरा लंड पूरा लेने के लिए लेकिन ले न्ही पा रही थी.

वो करते देख रश्मि मेरे पास आई जिसको मैने अपना लंड चूसा चूसा कर प्रॅक्टीस करा रखी थी. उसने मेरा लंड अपने गले मे उतार लिया. और पूरा लंड अपने मु मे समा गयइ.

ये देखकर अभिजीत बोला “तभी तो मुझे ये स्कूल की रंडिया पसंद है”. अभिजीत अपनी बीवी को किसी ओर के लंड ब्लोवजोब देते देख उसको जोश चढ़ने लगा.

उसने तभी रश्मि को पीछे से पकड़कर अपने उपर बैठा लिया ओर उसकी छूट मे अपना लंड डाल्डिया ओर फिर उसको उपर नीचे करने लगा. रश्मि ने मेरा लंड खा रखा था ओर वो तो बोहोट छ्होटा लंड था.

तो रश्मि उसके उपर कूद कूदकर मज़े लेने लगी. तभी मेडम भी उठी ओर मेरे उपर बैठकर अपनी छूट मे मेरा लॉडा भरकर कूदने लगी.

मेडम के मोटे मोटे गोल चुचे बुरी तरह हिलने लगे. ये सब अभिजीत ने देखा तो उसका हाल खराब हो गया. और वो रश्मि की छूट मे ही झाड़ गया.

रश्मि थोड़ी परेशन हुई तो मेडम ने उसको समझा दिया के कुछ नि होगा क्यूकी उससे जब मेडम प्रेग्नेंट नि हुई तो रश्मि क्या होती.

फिर रश्मि तो नहाने चली गयइ ओर मई मेडम को छोड़ता रहा ओर अभिजीत अपनी बीवी को चूड़ते हुए देखता रहा क्यूक्कल्ड की तरह.

फिर मई भी झड़ने के करीब हुआ तो मेडम ने मेरा लंड अपनी छूट से निकालकर नीचे घुटनो पेर बैठ गयइ. और मेरा लंड अपने मूह मे भर लिया.

और फिर मैने अपना लंड मेडम के मूह मे खाली कर दिया…. मेडम मेरा सारा माल पी गयइ. मेडम हम दोनो को अगले दिन भी आने के लिए बोलने लगी.

तो मैने उनको बोल दिया के हम आजाएँगे…

अगले दिन क्या हुआ? क्या वाहा भी कुछ एग्ज़ाइटिंग हुआ या फिर ऐसे ही चला??

इन सवालो के जवाब अगली कहानी मे. धन्यवाद!!

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